वायु प्रदूषण के घातक प्रभावों से कैसे रहें सुरक्षित!

वायु प्रदूषण के घातक प्रभावों से कैसे रहें सुरक्षित!

नई दिल्ली। वायु प्रदूषण का शारीरिक एवं मनोवैज्ञानिक स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है। प्रदूषण के कारण शरीर के कई अंगों और कार्यो को नुकसान पहुंचता है। आईए जानते हैं कि वायु प्रदूषण स्वास्थ्य को कैसे प्रभावित करता है? वायु प्रदूषण सांस की बीमारियां जैसे सीओपीडी उग्र हो जातीहै। वायु प्रदूषण के कारण ब्रॉंन्कियल अस्थमा उग्र रूप धारण कर लेता है। इसके अलावा इससे थकान, सिरदर्द और चिंता, आंखों, नाक, गले में जलन, तंत्रिका तंत्र को नुकसान पहुंचना, कार्डियोवैस्कुलर सिस्टम पर बुरा असर पड़ता है।

विश्वस्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट के अनुसार हर साल 70 लाख लोगों की मृत्यु प्रदूषित हवा के कारण होती है। सर्दियों का मौसम फिर से आ रहा है, ऐसे में आने वाले दिनों में हवा में नमी कम हो जाएगी, खेतों में भूसा जलाया जाएगा, इन सब के चलते सर्दियों में प्रदूषण अपने उच्चतम स्तर पर पहुंच जाता है। पिछले 30 सालों में वायु प्रदूषण के कारण स्वास्थ्य पर कई घातक प्रभाव पाए गए हैं। इनमें सांस की बीमारियां जैसे अस्थमा और फेफड़ों की समस्याएं, कार्डियोवैस्कुलर रोग, गर्भावस्था में बुरे परिणाम जैसे समय पूर्व प्रसव और यहां तक कि मृत्यु जैसे परिणाम भी शामिल हैं।

नई दिल्ली के इन्द्रप्रस्थ अपोलो हॉस्प्टिल्स के सीनियर पल्मोनोलिज्स्ट डा. राजेश चावला ने वायु प्रदूषण के हानिकर प्रभावों और इनसे बचने के लिए घरेलू उपायों पर रोशनी डाली।

घर के भीतर एयर प्यूरीफाइंग पौधे लगाएं : घर की भीतरी हवा को नियन्त्रित रखने के लिए प्राकृतिक पौधे लगाएं जो हवा को साफ करते हैं जैसे एलोवेरा, आईवी, मनीप्लांट, सेनसेवियरा और स्पाइडर प्लांट। ये पौधे प्रदूषित हवा को साफ करते हैं। घर में रासायनिक फ्रैशनर, क्लीनर, मोमबत्ती, धूम्रपान आदि का इस्तेमाल न करें।

घर वेंटीलेशन उपयुक्त हो : कभी कभी घर की खिड़कियां खोलें, ताकि घर में हवा का आवागमन ठीक बना रहे। छोटे-छोटे उपायों से घर में प्रूदषण को नियन्त्रित रखा जा सकता है। इससे घर में ताजा हवा आती रहती है।


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