इस मंदिर में पूरी होती है। पुत्र प्राप्ति की मनोकामना

इस मंदिर में पूरी होती है। पुत्र प्राप्ति की मनोकामना

कहा जाता है कि चोरी करना पाप है और इस पर यदि कोई मंदिर में चोरी करे तो मामला बिल्कुल वैसा ही होगा जैसे करेला वो भी नीम चढ़ा यानी महापाप। देव भूमि कहे जाने वाले उत्तराखंड में कई प्राचीन मंदिर है। इन्हीं में से एक अनोखा मंदिर है सिद्धपीठ चूड़ामणि देवी मंदिर। जहां से जुड़ी मान्यता है कि यहां चोरी करने पर हर शख्स की मनोकामना पूरी होती है। रुड़की के चुड़ियाला गांव स्थित प्राचीन सिद्धपीठ चूड़ामणि देवी मंदिर में पुत्र प्राप्ति की इच्छा रखने वाले पति.पत्नी माथा टेकने आते हैं।

मान्यता है कि जिन्हें पुत्र की चाह होती है वह जोड़ा यदि मंदिर में आकर माता के चरणों से लोकड़ा ;लकड़ी का गुड्डाद्ध चोरी करके अपने साथ ले जाए तो बेटा होता है। उसके बाद बेटे के साथ माता.पिता को यहां माथा टेकने आना होता है। कहा जाता है कि पुत्र होने पर भंडारा कराने के साथ ही दंपति अषाढ़ माह में ले जाए हुए लोकड़े के साथ ही एक अन्य लोकड़ा भी अपने पुत्र के हाथों से चढ़ावाना नहीं भूलते। गांव के लोगों का कहना है कि इस मंदिर का निर्माण 1805 में लंढौरा रियासत के राजा ने करवाया था।