ग्रुप डेटिंग को सामूहिक आवारवगी नहीं कहा जा सकता। युवाओं के प्यार और दोस्ती पर नाकभौं परंपरावादी और रूढिवादी लोग हमेशा सिकोडते रहे हैं और अब अभी भी सिकोडते हैं पर गु्रप डेटिंग में उनकी परवाह या लिहाज को कोई जगह नहीं और वैसे भी आज के युवा कीजिंदगी का पहला ऎम कैरियर है, जिसमें प्यार समानांतर चलता हरता है और जिससे प्यार करें उसी से शादी करें या अनिवार्यता भी खत्म होती जा रही है। रोमांटिक उम्र में रोमांस को जीने के लिए उन्हें जो अनुकूलताएं चाहिए वे गु्रप डेटिंग में सुविधाजनक तरीके से मिल जाती हैं। इसलिए खासतौर पर युवतियों की ग्रुप डेटिंग फस्ट पसंद बनती जा रहीं है।