बेपनाह खूबसूरती की मिसाल मधुबाला...

बेपनाह खूबसूरती की मिसाल मधुबाला...

शादी की प्रस्ताव- मधुबाला को विवाह के लिये तीन अलग-अलग लोगों से प्रस्ताव मिले। वह सुझाव के लिये अपनी मित्र नर्गिस के पास गयी। नर्गिस ने भारत भूषण से विवाह करने का सुझाव दिया जो कि एक विधुर थे। नर्गिस के अनुसार भारत भूषण, प्रदीप कुमार एवं किशोर कुमार से बेहतर थे। लेकिन मधुबाला ने अपनी इच्छा से किशार कुमार को चुना। किशोर कुमार एक तलाकशुदा व्यक्ति थे।

मधुबाला के पिता ने किशोर कुमार को सूचित किया कि मधुबाला इलाज के लिए लंदन जा रही है और वहां से लौटने के बाद ही उनसे शादी की पाएंगी। लेकिन मधुबाला को एहसास हुआ कि शायद लंदन में ऑपरेशन होने के बाद वह जिंदा नहीं रह पायेगी और यह बात उन्होंने किशोर कुमार को बतायी। इसके बाद मधुबाला की इच्छा पूरा करने के लिए किशोर कुमार ने मधुबाला से शादी कर ली।

1960 में उन्होंने शादी की। परन्तु किशोर कुमार के माता-पितता ने कभी भी मधुबाला को अपनी बहू के रूप में स्वीकार नहीं किया। उनकेा विचार था कि मधुबाला ही उनके बेटे की पहली शादी टूटने की वजह थी। किशोर कुमार ने माता-पिता को खुश करने के लिये हिन्दी रीति-रिवाज से पुन:शादी की, लेकिन वे उन्हें मना न सके।

वहीं मधुबाला की मृत्यु के कुछ ही दिनों बाद पिता अताउल्ला खां भी खुदा को प्यारे हो गये।

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