पति समझें पत्नी के दर्द को भी
जब तक दर्द से रिश्ता नहीं होगा, आपस का प्यार भी गहरा नहीं होगा। जब आप पत्नी के दर्द को उसकी तकलीफ को नजरअंदाज करेंगे तो उसके मन में आपके प्रति विद्रोह की भावना प्रबल होगी। पत्नी की नजरों में आप निर्दयी और स्वार्थी बन जाएंगे। अपने साथी के दर्द और तकलीफ के प्रति संवेदना व्यक्त करें। इससे दर्द तो कम नहीं होगा लेकिन संवेदना व्यक्त करने वाले के प्रति मन में प्यार उमडता है। तब वह दर्द को भूलकर आपके प्यार को महत्तव देंगी। इसलिए अपनी पत्नी के हमदर्द बनें।