लव मतलब 143

लव मतलब 143

लडकियों को आजकल नौकरी का शौक भी खूब चढ रहा है। थर्ड क्लास ग्रेजुएट भी पांच सात सौ की किसी प्राइवेट स्कूल में टीचर की नौकरी पा कर अपने प्रेमियों की सूची में इजाफा करती हैं। कई बालाएं तो शादी की वेदी पर किसी कुंआरे की बलि लेने से पहले 10-20 लडको का शिकार कर चुकी होती हैं। ये सारे पंडित प्रेम की भाष् पढने के बजाए 143 के जरिये देह का भूगोल पढ रहे हैं। इनका प्रेम शरीरी है जो इस देह से शुरू होकर इसी देह पर खत्म हो जाता है। आज के दौरमें प्रेम विवाह भी बहुतायत में होने लगें हैं, लेकिन मजे की बात यह हे कि प्रेम विवाह के बाद भी इन्सान प्रेम की तलाश में जुटा हुआ है। आज अगर कबीर होते तो अपने ढाई अक्षरों को 143 में बदलते देख फिर कहते दिया कबीरा रोय।