प्यार का केमिकल लोचा
कहते हैं कि प्यार दिलों में बसता है लेकिन विज्ञान के अनुसार प्यार दिलों में बसता है। भावनाओं के उद्वेग सेजिन केमिकलका रिसाव होता है, वही प्यार की केमिस्ट्री बनाते हैं। रिश्तों की बेहतरी तभी है जब इनकी सही केमिस्ट्री कामय हो। इस केमिस्ट्री को जानना और बनाए रखना बहुत जरूरी है। इस मामले में विज्ञान भी हमारे ज्ञान से सहमत है। केमिकल लोचा- जब भी दो लोग आपस में आकर्षित होते हैं तो उसे टाइम दिमागा में एड्रेनिल जैसे न्यूरोकेमिकल का रिसाव तेजी से होता है। दिल में एक अजीब सी आग लगती है। साथ ही फेनिलथइलामाइन केमिकल तेजी से नव््रस सेल के बीच बहने लगता है। डोपामाइन जहां अच्छा महसूस कराने में सक्षम होता है, वहीं नॉरपाइनफिराइन एड्रेनिलाइन का उत्पादन बढाता है। ये दिल की गति को बढा देते हैं। ये तीनों सम्मोहन या लगाव केमिस्ट्री। सब तरफ खुशियां ही खुशियां नजर आती है।