कैसे बचे थायरायड से?
थायराइड ऐसी बीमारी है, जो किसी भी उम्र के लोगों
को अपनी चपेट में ले लेती है, लेकिन सर्वे बताते है कि यह पुरूषों के बजाएं
महिलाओं में अधिक होती है। थायराइड एक बहुत ही महत्वपूर्ण ग्लैंड होता
है, जो कि बटरफ्लाई शेप में होता है। यह गले के फ्रंट में तथा श्वास नली के
ऊपर एवं स्वर यन्त्र के दोनों तरफ दो भागों में बंटा होता हे। थायराइड
शरीर में होर्मोंन प्रोड्यूस करती है और यह मेटाबॉलिज्म ग्रंन्थि को
कंट्रोल करती है। हम जो भी खाना खाते हैं, उसको यह थायराइड गंन्थि शरीर
के लिए उपयोगी ऊर्जा में बदलती है। इसके लिए यह थायरायड ग्रंन्थि से निकलने
वाले हार्मोन शरीर की लगभग सभी क्रियाओं पर अपना प्रभाव डालते हैं।
बॉडी
में थायराइड की कमी या अधिकता ब्लड टेस्ट के जरिए पता लगायी जाती है। यह
दो प्रकार का होता है- हाइपरथायरॉइडिज्म और हाइपोथारॉइडिज्म। थायराइड
ग्रंन्थि से अधिक हार्मोन बनने लगे तो हाइपरथायरॉइडिज्म और कम बनने लगे तो
हाइपरथायरॉइडिज्म और कम बनने हाइपोथायरॉइडिज्म हो जाता है।
हाइपोथायरॉइडिज्म
होने पर निम्रलिखित लक्षण देखने में आ सकते हैं, जैसे कि थकान, आलस, कब्ज
का होना, चिचिडाप, अत्यधिक ठंड लगना, भूल जाना, डिप्रेशन आदि।